चुनाव के चलते मूलभूत समस्याएं हो रहीं नजर अंदाज,
पेयजल संकट ने दी दस्तक,
उतावली नदी ने तोड़ा दम,
कई गांवों से हैंडडपंप खराब होने के समाचार,
शिकारपुर मे कई किलोमीटर दूर से पानी लाने को मजबूर ग्रामीण,
 पानी को लेकर ग्रामीणों की  फजीहत शुरु

भाऊँखेड़ी/मुवाड़ा
 एमपी मीडिया पाइंट 

चौतरफा चुनाव की चर्चा के बीच ग्रामीणों की मूलभूत समस्याएं दबती जा रही है एक तरफ प्रशासन के लिए चुनाव चुनौती बना हुआ है वहीं दूसरी तरफ प्रशासन का ध्यान अन्य समस्याओं से छिटककर रह गया है।पेयजल संकट ने दबे पांव इछावर तहसील मे दस्तक देदी है कई गांवों मे लोग दो-दो किलोमीटर दूर से पानी ला रहे हैं।तहसील के भाऊँखेड़ी की उतावली नहीं सूख गई है शिकारपुर मे हैंडपंप पिछले 15 दिनों से खराब है वहीं निपानिया सिक्का मे सरकारी हैंडपंप पर रसूकदार ने कब्जा जमाकर जल संकट पैदा कर दिया है। मुवाड़ा,टांकपुरा,पांगरी जंगल मे भी स्थिति नाजुक होती जा रही है लेकिन चुनाव मे मशगुल प्रशासन एंव जनप्रतिनिधियों का इस तरफ कोई ध्यान नहीं है।

अक्सर मार्च-अप्रेल माह तक बहने वाली उतावली नदी इनदिनों सूख गई है जिससे आने वाले दिनों में पानी की भयंकर किल्लत होती दिखाई दे रही है यह उतावली नदी ग्राम कांकरखेड़ा लसूड़ियाराम व भाऊँखेड़ी के बीच से होकर गुजरती है नदी के दोनों तरफ हजारों एकड़ जमीन है व किसान भी पानी के लिये इस नदी पर ही निर्भर हैं नदी सूखने से आसपास के कई कुओं सहित बोरवेलों का पानी भी बहुत तेजी से घट रहा है जिससे सर्दी के मौसम में ही गर्मी जैसे हालात उत्पन्न होने लगे है कई लोग तो अब भी घरो में पानी कुओ से ही ला रहे हैं ग्राम भाऊँखेड़ी में  नलजल योजना भी भगवान भरोसे ही चल रही है हप्ते में एक दो दिन नलो से पानी आता है मगर वो भी पीने योग्य नही है क्योकि मेन पाइप लाइन गंदी नाली से होकर गुजरी है और पाइप लाइन कई जगहों से फूटी है जिसमे नाली का गंदा पानी रिस जाता है जिसे उपयोग करने पर ग्राम में खुजली के मरीजों की संख्या में लगातार  बढ़ोतरी हो रही है। ग्रामीणों का कहना है कि पंचायत को पेयजल के दस्तक की आवाज इसलिए सुनाई दे रही क्योंकि सभी का ध्यान विधानसभा चुनाव मे लगा हुआ है।

तहसील के ग्राम शिकारपुर मे हैंडपंप पिछले 15 दिनों से खराब है जिसे अब तक सुधारा नहीं जा सका है  लोग मजबूरी मे दो-दो किलोमीटर दूर से पानी ला रहे हैं। ग्रामीण  राजकुमार,धरमसिंह,मांगीलाल वर्मा,अजय माहेश्वरी,किशन वर्मा बताते हैं  कि शासन ने कुछ दिनों पूर्व शिकारपुर मे बोर लगाते हुए उसमे विद्युत मोटर डाली थी जिसे अब तक चालु नहीं किया गया और ना ही बिगड़े हैंडपंप को सुधारा गया नतीजतन गांव मे पीने के पानी को लेकर हाहाकार मचा हुआ है।
इछावर तहसील के गांव निपानिया मे तो हद तब हो गई कि वहीं के एक रसूकदार ने बागड़ लगाकर सरकारी बोर पर कब्जा जमा लिया ग्रामीणों ने बताया कि गांव वालों ने जब मना किया तो संबंधित व्यक्ति ने कब्जा हटाने से यह कहते हुए मना कर दिया कि उक्त जमीन मेरी ही है बने जो करलो।

इछावर तहसील के ग्राम मुवाड़ा मे प्यास बुझाने वाले नदी और डेम का जलस्तर तेजी से घट गया है जबकि सर्दी का मौसम सही से शुरू भी नहीं हुआ है आगामी कुछ ही दिनों में ग्रामीणों के सामने  जल संकट खड़ा हो सकता है किसानों ने रबी सीजन की बुआई के लिए  पलेवा व सिंचाई कार्य शुरू कर दिया है ऐसे में नदी और डेम के पानी पर खतरा मंडराने लगा है ग्राम के कुछ हैंडपंप मे पानी की स्थिति बहुत ही खराब है इसी वजह से ग्रामीणों को पीने के पानी को लेकर परेशानी का सामना करना पड़ रहा है।
ग्रामीण शिवराज सिंह राजपूत, अरविंद राजपूत, योगेंद्र राजपूत, राजेश विश्वकर्मा ने बताया कि
यही स्थिति ग्राम टॉकपुरा  और पांगरी जंगल की तलाई में भी है तलाई का जलस्तर भी तेजी से घट रहा है जिसके कारण कुछ ही दिनों में ग्रामीणों को पानी नहीं मिलेगा।
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